Chardham Yatra: सड़कों पर गुजरी यात्रियों की रात,गंगोत्री बाजार बंद| विश्व प्रसिद्ध चारधाम यात्रा का आगाज तो हो गया है लेकिन इस बार भगवान भरोसे चल रही है. जहां लोग मन की शांती और सूकून के लिए पहुंचते थे वहां नारेबाजी और विरोध प्रदर्शन देखने को मिल रहा है. चारधाम यात्रा को अभी चार ही दिन हुए हैं और चार दिन में ही सरकार सहित शासन और प्रशासन को यात्रा अव्यवस्थाओं के चलते यात्रियों और व्यापारियों के विरोध प्रदर्शन का सामना करना पड़ रहा है। स्थिति अभी भी प्रशासन और पुलिस के कंट्रोल से बाहर है। जनपद मुख्यालय से लेकर दोनों घाटियों गंगा व यमुना में यात्री परेशान है। कुछ दिन पूर्व जहां यमुनोत्री धाम का विडियों वाइरल हुआ था जिसमें यात्रीयों की भारी भीड़ और व्यवस्थाओं की पोल खुलती नजर आई तो वहीं अब श्री गंगोत्री धाम में व्यापारियों ने बाजार बंद कर दिया है. कोई भी दुकान खुली नहीं है.
ज़ब तक स्थिति नहीं सुधरती है, तब तक बाजार बंद रहेगा
दरसल गंगोत्री धाम में तीर्थ पुरोहितों के बाद व्यापार मंडल गंगोत्री के व्यापारियों ने भी शासन-प्रशासन के खिलाफ प्रदर्शन शुरू कर दिय है। आक्रोशित गंगोत्री धाम के व्यपारियों ने पूरा बाजार बंद करवा दिया। व्यापारियों का कहना है कि प्रशासन रात्रि में यात्री भेज रहा है। उस समय उन्हें कोई सुविधा नहीं मिल पा रही। इसलिए ज़ब तक स्थिति नहीं सुधरती है, तब तक बाजार बंद रहेगा।
इस तरहा धामों में बंद और विरोध प्रदर्शन के चलते यात्रीयों को कई दिक्कतों का समना करना पड़ रहा है. यात्रीयों को अपने पड़ाव तक पहुंचे में कई परीक्षाओं से होकर गुजरना पड़ रहा है. पहले तो रास्ते में लंबा जाम. फिर गाड़ी यदि रेंगते रेंगते डेस्टीनेशन तक पहुंच भी जाए तो पार्किंग के लिए कोई व्यवस्था नहीं. जहां तहां यात्री अपनी गाड़ी पार्क कर रहे हैं जो जाम का कारण बन रहा हैं.
वहीं बीते दिन श्रदाधुओं की भीड़ उमड़ने के कारण तमाम व्यवस्था बेपटरी होती नजर आई. यात्रियों की बढ़ती संख्या देख उन्हें जगह जगह बीच में ही रोक दिया गया. जिसकी वजह से उन्हें सड़क किनारे ही खुलेआसमान के नीचे रात गुजारनी पड़ी. इतना ही नहीं लंबा जाम लगने के कारण कई यात्री वापस लौटते दिखे. वहीं यमुनोत्री के अंतिम पड़ाव जानकीचट्टी से यमुनोत्री के 5 किलोमीटर पैदल मार्ग पर यात्रियों के भारी दबाब को देखते हुए रोका गया जिसके कारण वहां यात्रियों की भीड़ बेकाबू होती दिखी..वहीं यमुनोत्री यात्रा पर आए 4 श्रद्धालुओं की मौत हो चुकी है. ये तमाम अव्यवस्था की तस्वीरें बताती है शासन-प्रशासन ने पिछली गलतियों से न तो कई सीख ली है और न कोई होमवर्क किया गया.और विभीगय मंत्री की तो बात ही छोड़ दीजिए..यात्रा शुरु होने से पहले पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज प्रदेश से बाहर रहे. वहीं अब उनका कहना है कि जो स्थानीय लोग डोली लेकर पहुंचते है उनके कारण भीड़ उमड़ती है.
पिछले 6 माह से कपाट खुलने का इंतजार कर रहे तीर्थ यात्री अपना पंजीकरण करवा कर यात्रा पर पहुंचने लगे हैं। अब तक 26 लाख से अधिक तीर्थ यात्री पंजीकरण करवा चुके हैं। लेकिन शासन- प्रशासन की गलतियों की वजह से बड़ी संख्या में चारधाम पहुंच रहे तीर्थ यात्रियों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। ऐसे में धामों के दर्शन करना यात्रीयों के लिए जी का जंजाल बनता जा रहा है.
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